एनपीके का उपयोग से फसलों में एक साथ तीन तत्वों नाइट्रोजन, फास्फोरस एवं पोटाश की पूर्ति

कटनी जिले में रबी फसलों का कार्य प्रगति पर है, जिसके चलते बेसल डोज के रूप में कृषकों को डीएपी एनपीके एवं एसएसपी उर्वरक की आवश्यकता होती है। वर्तमान में शासन द्वारा उर्वरक की आपूर्ति की जा रही है। रबी फसलों के लिए कृषक डीएपी उर्वरक का अधिक उपयोग करते है। कृषि विकास विभाग ने बताया कि किसान रबी फसलों के लिए बेसल डोज के रूप में एनपीके उर्वरक जैसे- 12.32.16 एवं 20.20.0.13 आदि डीएपी के स्थान पर एक अच्छा विकल्प है। एनपीके का उपयोग करने से फसलों में एक साथ तीन तत्वों नाइट्रोजन, फास्फोरस एवं पोटाश की पूर्ति सुनिश्चित करता है, जबकि डीएपी उर्वरक से मात्र दो तत्वों नाइट्रोजन, फास्फोरस की ही पूर्ति होती है। इस प्रकार डीएपी के स्थान पर एनपीके का उपयोग कृषकों के लिए लाभकारी है। इसके अतिरिक्त कृषक भाईयों से अपील है कि, मृदा परीक्षण के आधार पर जारी मृदा स्वास्थ्य कार्ड में की गई अनुशंसा के अनुरूप ही उर्वरकों का संतुलित उपयोग करें।