नई दिल्ली । पीयूष कुमार जैन से जुड़ी हियरिंग एड कंपनी से उनकी जिंदगी बदल देगी। 2017 में हियरिंग एड कंपनी के संस्थापक डॉ मार्को वीटोर ने पीयूष जैन को जर्मन हियरिंग एड तकनीक के बारे में बताया। जर्मन हियरिंग एड के इंजीनियरों ने रिसर्च और डवलपमेंट में सालों साल मेहनत करके एक इतनी आधुनिक और छोटे आकार वाला हियरिंग एड विकसित किया जो आसानी से कान के पीछे छिप जाता है।
डॉ विएटर ने जब पियूष जैन से इस टेक्नोलॉजी को भारतीय बाजार में लाने की बात कही तो शुरू में पियूष हिचकिचाए वह जानते थे कि उनकी माँ की सुनने की शक्ति धीरे-धीरे खो रही थी, लेकिन वह किसी भी कीमत पर हियरिंग एड नहीं लगवाना चाहती थीं क्योंकि उन्हें लगता था कि मशीन बहुत बड़ी होने से अच्छी नहीं लगती है। वह सोचती थीं कि सुनने की मशीन लगाने से वह बहुत बुजुर्ग लगने लगेंगी। नवीनतम जर्मन हियरिंग एड की गुणवत्ता और डॉ विएटर के दावों को परखने के लिए पियूष ने अपनी माताजी से उनका एक हियरिंग एड इस्तेमाल करने को कहा।
यह हियरिंग एड न केवल मेरी माँ की दुनिया में बदलाव लेकर आये बल्कि मेरे पूरे परिवार के जीवन को भी बदल दिया। हर प्रकार के पारिवारिक कार्यक्रम और टीवी देखने के समय बातचीत और गपशप बहुत आसान हो गयी। जिस पल से मेरी माँ ने इस हियरिंग एड को लगाना शुरू किया उसी पल से मेरे परिवार में खुशी की लहर दौड़ गयी हालाँकि शुरूआती कुछ दिनों तक उन्हें थोड़ा असहज महसूस हुआ फिर धीरे-धीरे वह सहज हो गयीं। 2-3 हफ्तों के बाद तो वह हियरिंग एड को निकालना ही नहीं चाहती थीं। 
जब मुझे एहसास हुआ कि मेरी माँ को हियरिंग एड के इस्तेमाल के लिए मनाना कितना मुश्किल था जबकि उनके जीवन पर हियरिंग एड का कितना अधिक सकारात्मक असर हुआ तब न केवल मैंने मार्को के ऑफर को स्वीकार कर लिया बल्कि मैंने कंपनी का यह मिशन संभव बनाने का फैसला किया कि भारत की हर माँ हियरिंग एड पहन सके। तभी से कंपनी भारत में तेजी से बढ़ रही है।