हरीश मिश्र

 अध्यात्म से संबंध रखनेवाले व्यक्ति का विकास और प्रगति का मूल केन्द्र उसके अंदर ही होता है।समय, कालखंड में मिली पनौती को चुनौती के रूप में स्वीकार कर हालात बदलता है।

   मोदी जी! गरीब परिवार में जन्म लेकर, पनौती को चुनौती के रूप में स्वीकार कर लाल किले के शिखर तक पहुंचे हैं। वह आध्यात्मिक दृष्टिकोण वाले व्यक्ति हैं, आत्म-विश्वास, आत्म-चिन्तन,आत्म-शोधन के लिए सतत् प्रयत्नशील रहते हैं। इसी आधार पर वे सतत् स्वयं एवं संगठन को श्रेष्ठता के सोपान पर ले जा रहे हैं।

    तीन राज्यों के चुनाव परिणाम बताते हैं। वह प्रजाजनों में प्रिय हैं तथा उनके हृदय में बसते हैं।  अपने सामाजिक, राष्ट्र हित के उत्तर दायित्व के प्रति सजग हैं। संगठन हित में सामूहिक निर्णय के लिए विचार-विमर्श करते हैं। संगठन हित में सामूहिकता तथा सहयोगात्मक पद्धति अपना रहे हैं। अपनी मन मर्जी से निर्णय नहीं लेते। ये ही कारण है कि सबका साथ, सबका विकास के लिए हर क्षेत्र की परिस्थितियों का बारीकी से अध्ययन करके समयानुकूल कार्यक्रम बनाकर जनकल्याण हेतु कार्यान्वित करने में सफल हो रहे हैं।

वह भगवान राम से प्रेरित हैं। भगवान राम सब कुछ जानते हुए भी सामूहिकता की मर्यादा निभाते हैं। सहयोगियों से परामर्श करते हैं। लंका विजय के लिए समुद्र पार करने की समस्या वे सबके सामने रख कर सलाह मॉगते हैं-
सुनु कपीश लंकापति वीरा।
केहिं विधि तरिय जलधि गंभीरा।।

मोदी जी ! भी सहयोगियों से परामर्श करते हैं। देश के सामने खड़ी पनौतियों और चुनौतियों से कैसे निपटा जाए। मोदी जी जानते हैं। सामूहिकता की अपनी अनौखी  महत्ता है। भगवान श्री राम वनवास के समय वनवासियों में भी सामूहिकता का भाव भर देते हैं ‌। जब कोल-भील मिलते हैं तो वे उन सबको सम्मान देते ह और सामाजिक गौरव का बोध कराते हैं। भगवान राम इसी क्रम में राक्षसों का वध का प्रण करते हैं और असुरता के प्रतिकार के लिए भिन्न-भिन्न आश्रमों में जा-जाकर  के साधकों को जाग्रत करते हैं। भगवान राम सहयोग देने और प्राप्त करने में कुशल हैं । उनके संगठन का अर्थ ना तो आतंक है  और न रूखी सैद्धांतिकता।
 वे प्रेम भावना , उच्चस्तरीय संवेदना के आधार पर जन-जन को सूत्रबद्ध करते हैं। राम की नीतियों पद चिन्हों पर चल कर ही मोदी जी ! पनौतियों और चुनौतियों से निपट रहे हैं।

लेखक - ( स्वतंत्र पत्रकार )
संपादक
दैनिक दिव्य घोष
मासिक मूक माटी
इंवेस्टीगेटिव एडिटर
द सूत्र 
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