गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह की बात से बेचैन हुई एग्रो केमिकल इंडस्ट्री

नई दिल्ली l रासायनिक उर्वरक और पेस्टीसाइड बनाने वाली कंपनियों के अब अच्छे दिन जाने वाले हैं l असल में सरकार अब रासायनिक खादों और पेस्टीसाइड के बहुतयात इस्तेमाल के खिलाफ बोल रही हैl अब सरकार जैविक और प्राकृतिक खेती पर जोर दे रही है, जबकि कारपोरेट जगत इसके लिए श्रीलंका की बर्बादी का उदाहरण दे रहा हैl बहरहाल, राष्ट्रीय सहकारी ऑर्गेनिक्स लिमिटेड (NCOL) की शुरुआत करते वक्त केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह ने रासायनिक खादों और कीटनाशकों पर जो बयान दिया है उसने इस इंडस्ट्रीस को बेचैन कर दिया है l एग्रो केमिकल बनाने वाली कंपनियां परेशान हैं कि अगर आम जनमानस में ऐसा परसेप्शन बना तो उनके बिजनेस का क्या होगा ? शाह का बयान आम जनता की सेहत को देखते हुए अच्छे काम के लिए दिया गया है l शाह ने कहा कि ये भारत के लिए संतोषजनक बात है कि कृषि उपज के क्षेत्र में आज हम न सिर्फ आत्मनिर्भर हैं, बल्कि सरप्लस हैं. लेकिन अब हमें इस यात्रा का मूल्यांकन करना होगा. उत्पादन बढ़ाने में फर्टिलाइज़र्स और पेस्टीसाइड्स के अत्यधिक उपयोग के बुरे परिणाम आज हमारे सामने आने लगे हैं l जैविक और प्राकृतिक खेती की वकालत करते हुए शाह ने कहा कि इनके अत्यधिक उपयोग ने भूमि की उर्वरता को कम कर दिया है l पानी को प्रदूषित करने के साथ ही कई प्रकार की बीमारियां भी दी हैंl उत्पादन को बढ़ाने में फ़र्टिलाइज़र और पेस्टीसाइड के अत्यधिक उपयोग ने कई बुरे परिणाम हमारे भविष्य पर डाल दिए हैं l आज यह परिणाम धीरे-धीरे नजर के सामने दिखाई देते हैं l ज्यादा फर्टिलाइजर और पेस्टिसाइड के उपयोग वाले अन्न के कारण मानव शरीर कई प्रकार के रोगों से ग्रसित भी हुआ है l जब मैं पार्टी का अध्यक्ष था तब देश के सभी राज्यों का भ्रमण करता था l कुछ राज्यों से बड़े शहरों की ओर ट्रेन जाती है, उनका नाम कैंसर ट्रेन रखा गया है l यह अपने आप में आंख खोलने के लिए बहुत महत्वपूर्ण घटना है l