ग्वालियर l  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के निर्देश पर सामाजिक न्याय व दिव्यांगजन कल्याण एवं उद्यानिकी व खाद्य प्रसंस्करण मंत्री श्री नारायण सिंह कुशवाह और ऊर्जा मंत्री श्री प्रद्युम्न सिंह तोमर की मौजूदगी में आयोजित हुई बैठक में अपर मुख्य सचिव एवं ग्वालियर संभाग के प्रभारी सचिव श्री के सी गुप्ता ने जनप्रतिनिधियों से जिले के विकास के संबंध में महत्वपूर्ण सुझाव लिए। अपर मुख्य सचिव श्री गुप्ता ने इस अवसर पर कहा कि जिले के विकास के लिए सभी के साझा प्रयास जरूरी हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इसी उद्देश्य से आप सबके सुझाव मांगे हैं।

शुक्रवार को कलेक्ट्रेट के सभाकक्ष में हुई बैठक में महापौर डॉ. शोभा सतीश सिकरवार, विधायक डॉ. सतीश सिकरवार, श्री सुरेश राजे व श्री साहब सिंह गुर्जर, बीज एवं फॉर्म विकास निगम के अध्यक्ष श्री मुन्नालाल गोयल व सांसद प्रतिनिधि श्री रामेश्वर भदौरिया सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, संभागीय आयुक्त श्री दीपक सिंह, डीआईजी सुश्री कृष्णावेणी देशावतु, कलेक्टर श्री अक्षय कुमार सिंह, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री राजेश चंदेल, नगर निगम आयुक्त श्री हर्ष सिंह, स्मर्ट सिटी की सीईओ श्रीमती नीतू माथुर, अपर कलेक्टर श्रीमती अंजू अरूण कुमार व जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री विवेक कुमार सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।

अपर मुख्य सचिव श्री के सी गुप्ता ने कहा कि बैठक में जनप्रतिनिधियों द्वारा कई महत्वपूर्ण सुझाव दिए गए हैं। इन सुझावों के संबंध में जिला कलेक्टर संबंधित विभागों को तत्परता से पत्र के माध्यम से प्रस्ताव प्रेषित करें, ताकि प्रदेश स्तर पर इसकी मॉनीटरिंग की जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि बैठक में जो सुझाव आए हैं उनमें जिनका निराकरण जिला स्तर पर किया जाना है, उसको प्राथमिकता से किया जाए। शासन स्तर के प्रस्तावों को शासन स्तर से स्वीकृति एवं बजट की उपलब्धता हो, इसकी मॉनीटरिंग शासन स्तर पर की जायेगी।

सामाजिक न्याय व दिव्यांगजन कल्याण एवं उद्यानिकी व खाद्य प्रसंस्करण मंत्री श्री नारायण सिंह कुशवाह ने सुझाव दिया कि शहर तथा ग्रामीण क्षेत्र में निराश्रित मवेशियों के प्रबंधन के लिये सुनियोजित कार्ययोजना बनाई जाए। इसके साथ ही लाल टिपारा गौशाला ग्वालियर की तर्ज पर जिले में अन्य बड़ी गौशालाओं की स्थापना हो, इसके भी सार्थक प्रयास किए जाएँ। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि गौशालाओं के संचालन में आम नागरिकों एवं समाज सेवियों को भी सहभागी बनाया जाए। शहर में यातायात प्रबंधन के लिये भी सभी विभागों के समन्वित प्रयासों से पुख्ता कार्ययोजना बनाकर कार्य करने की बात भी उन्होंने कही।

प्रदेश के ऊर्जा मंत्री श्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने कहा कि शहर में स्वच्छता के लिये इंदौर की तर्ज पर और बेहतर प्रयास करने की आवश्यकता है। इसके लिये नगर निगम के माध्यम से कार्ययोजना तैयार कर शासन स्तर से मेनपॉवर एवं जो भी मशीनरी की आवश्यकता है, उसका प्रस्ताव भेजा जाए। उन्होंने शहर की स्ट्रीट लाईट संधारण के लिये भी विशेष प्रयास करने की बात कही। ऊर्जा मंत्री श्री तोमर ने बैठक में कहा कि ग्वालियर नगर पहले उद्योग नगरी के रूप में जाना जाता था। वर्तमान समय में उस औद्योगिक वैभव को फिर से कायम करने के लिये शासन स्तर से ठोस प्रयास किए जाना चाहिए। ग्वालियर जिले के पर्यटन क्षेत्रों को और व्यवस्थित करने तथा वहाँ पर पर्यटन स्थल तक पहुँच मार्गों को बेहतर करने की दिशा में भी कार्य करने की जरूरत उन्होंने बताई।

महापौर डॉ. शोभा सतीश सिकरवार ने कहा कि शासन स्तर से नगर निगम को मिलने वाला अनुदान समय पर मिले ताकि शहर विकास के कामों को तेजी के साथ किया जा सके। चुंगी क्षतिपूर्ति एवं अन्य जो धनराशि शासन स्तर से निगम को मिलती है वह नियमित रूप से समय पर मिले ताकि नगरीय निकाय बेहतर ढंग से अपने कार्यों को अंजाम दे सके।

विधायक डॉ. सतीश सिकरवार ने एयरपोर्ट से सात नम्बर चौराहे तक सड़क निर्माण के लिये तैयार किए गए प्रस्ताव को मंजूरी एवं धनराशि उपलब्ध कराए जाने का सुझाव दिया। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि शासन स्तर से अधोसंरचना विकास के लिये धनराशि जिले को मिले ताकि ग्वालियर का तेजी से विकास हो सके। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि शहर के सभी उद्यान, श्मशान एवं कब्रिस्तानों के विकास के लिये भी कार्ययोजना तैयार की जाकर कार्रवाई की जाए।

विधायक श्री सुरेश राजे ने कहा कि मजरे-टोलों में शासन स्तर से अटल ज्योति योजना के माध्यम से छोटे-छोटे मजरे-टोलों को भी योजना का लाभ मिले। इसके प्रयास किए जाना चाहिए। विधायक श्री साहब सिंह गुर्जर ने कहा कि भदावना धाम को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने की बात कही। इसके साथ ही ग्रामीण क्षेत्र में विकास के कई महत्वपूर्ण सुझाव भी दिए।

बीज एवं फॉर्म विकास निगम के अध्यक्ष श्री मुन्नालाल गोयल ने कहा कि केदारपुर में कई लोगों को आवास के पट्टे उपलब्ध कराए गए हैं। इनके विकास के लिये भी शहरी विकास अभिकरण द्वारा 4 करोड़ रूपए की धनराशि उपलब्ध कराई गई है। उक्त राशि से तत्परता से कार्य हो ताकि जिन्हें पट्टे मिले हैं वे स्थापित हो सकें। उन्होंने शहर की यातायात व्यवस्था के लिये भी उपयोगी सुझाव दिए। संभाग आयुक्त श्री दीपक सिंह ने बैठक में कहा कि जनप्रतिनिधियों द्वारा जिले के विकास के लिये कई महत्वपूर्ण सुझाव दिए गए हैं। जिला प्रशासन की ओर से सभी प्रस्तावों पर विस्तृत कार्ययोजना बनाकर शासन के विभिन्न विभागों को भेजी जाए ताकि शासन स्तर से उन पर कार्रवाई हो सके। इसके साथ ही जिला स्तर से जिन सुझावों पर अमल किया जाना है, उन पर जिला प्रशासन प्राथमिकता से कार्रवाई करे।