सीहोर जिले के अमलाहा स्थित इंटरनेशनल संस्थान इकार्डा (इंटरनेशनल सेंटर फॉर एग्रीकल्चर रिसर्च एंड ड्राई एरिया- फ़ूड लेग्यूम रिसर्च प्लेटफार्म) में किसान दिवस और वैज्ञानिक मिलन समारोह का स्थापना दिवस मनाया गया

           

       इस अवसर पर इकार्डा के निदेशक डॉ. शिवकुमार अग्रवाल ने संस्थान में चल रही वैज्ञानिक गतिविधियो के बारे में विस्तार से जानकारी दी । उन्होंने कहा कि कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य इकार्डा द्वारा की जा रही विभिन्न फसलों के अनुसंधान और उनसे होने वाले लाभ से किसानों को अवगत कराना है । डॉ शिव अग्रवाल ने बताया कि इकार्डा मुखयत: मसूर ,  चनाखेसरी (तिवरा)राम बाटलीकटिया गेहूं एवं जौ के उत्पादन पर और बायोफोर्टिफिकेशन के अनुसंधान पर कार्य करते हैं । इसके अलावा हम नागफनी जो की कांटे रहित है उस पर कार्य कर रहे हैं । प्रतिवर्ष इकार्डा इन सभी फसलों का अवलोकन करता हैं । और सबसे उपयुक्त एवं वातावरण के अनुकूल उन्नत जर्मप्लास्म को नेशनल पार्टनर्स और कृषि वैज्ञानिको के साथ साझा करता हैं ।  जिससे वह नई किस्म को विकसित कर सकें । अभी तक बहुत सी प्रजातियां किसानों के खेतों तक पहुंच चुकी हैं जो की इकार्डा एवं पार्टनर के द्वारा विकसित की गई हैं । उन्होंने कहा कि सीहोर के शरबती गेहूं और कम पानी वाला कठिया गेहूं को राष्ट्रीय बाज़ार में बेचकर अधिक लाभ कमा सकते हैं ।