विधानसभा चुनाव में टिकट को लेकर जारी है अटकलो का दौर

पिपरिया l जब से पिपरिया विधानसभा क्षेत्र अनुसूचित जाति वर्ग के लिए आरक्षित हुआ है तब से ही भाजपा ने इस क्षेत्र से लगातार तीन चुनाव में जोरदार ढंग से जीत दर्ज की हैl पिपरिया विधायक ठाकुरदास नागवंशी तीन बार से लगातार जीत का परचम लहरा रहे हैंl एक बार फिर उनकी दावेदारी मजबूत नजर आ रही है लेकिन इस बार की राजनैतिक परिस्थितियां कुछ ऐसी बन पड़ी है कि सबसे पहले तो उन्हें टिकट के लिए ही संघर्ष करना पड़ेगा यदि वे टिकट पाने में कामयाब हो जाते हैं तो फिर जीत के लिए संघर्ष करना होगा l इस बार पिपरिया विधानसभा चुनाव उनके लिए एक राजनैतिक चक्रव्यूह के समान ही है जिसमें उत्तर दक्षिण पूर्व पश्चिम चारों दिशाओं में उनके अपने ही अपने नजर आ रहे हैं जिन्होंने उनके खिलाफ ही मोर्चा खोल रखा है l नागवंशी को अपने राजनैतिक जीवन में इतनी चुनौतियां पहले कभी नहीं मिलीl विधायक को इस बार बैटिंग ,बॉलिंग और फील्डिंग भी खुद ही करनी पड़ रही है क्योंकि पार्टी के अंदर ही अधिकांश वरिष्ठ नेता उनसे नाराज चल रहे हैं और नाराजगी ही कुछ ऐसी है कि उन नेताओं को मनाया नहीं जा सकताl कुछ नेता नगरीय निकाय तथा त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में उनकी जिद से नाराज हैं , तो कुछ नेता उनकी कार्यशैली से शेष बचे नेता उनके बढ़ते राजनैतिक कद से परेशान हैं इन सबके बावजूद देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का नाम और काम दोनों ही नागवंशी के लिए वरदान साबित हो सकते हैं l अभी हाल ही में भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और सांसद राकेश सिंह जिले की चारों विधानसभा सीटों की स्थिति का आकलन करने आए थे जिसमें पिपरिया के दो वरिष्ठ नेताओं से उन्होंने वन टू वन चर्चा भी की थी सूत्रों की माने तो पिपरिया के दोनो ही दिग्गज भाजपा नेताओं ने स्पष्ट रूप से नागवंशी को टिकट दिए जाने का विरोध किया है उन्होंने दो टूक कहा है की जमीनी कार्यकर्ता नाराज है यदि नागवंशी को टिकट मिली तो इस बार संघर्ष करना पड़ेगा l दोनों ही नेताओं ने टिकट बदलने की बात भी कही है l भाजपा में टिकट के लिए लंबी कतार है जिनमें भाजपा नेत्री सविता राज ,हेमंत भन्नरवार ,संध्या सिंगारे ,दिलीप सिंगारेऔर राजेश गिन्यारे के नाम प्रमुख हैl यदि भाजपा टिकट बदलती है तो इन में से किसी एक को टिकट मिलना तय हैl दूसरी तरफ कांग्रेस के पिपरिया विधानसभा क्षेत्र के प्रभारी वरिष्ठ कांग्रेस नेता अनिल मार्टिन भी कुछ महीनों से लगातार सक्रिय हैl पिपरिया की राजनैतिक स्थितियों का फीडबैक वे पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ तक सीधे पहुंचा रहे हैं l कांग्रेस अपने मजबूत से मजबूत प्रत्याशी को भी चुनाव मैदान में उतारने के बावजूद लगातार तीन विधानसभा चुनाव में हारी है l कांग्रेस के पास भी प्रत्याशियों की लंबी लाइन है वे सभी दावेदार जमीन पर भी नजर आ रहे हैं l उन दावेदारों में प्रमुख रूप से हरीश बेमन ममता नागोत्ररा धर्मेंद्र नागवंशी ,वीरेंद्र बेलवंशी ,सुधा सिलावट ,रमेश बामने ...तीन चुनावों में मिली लगातार हार से कांग्रेस चिंतित है l यही वजह है कि इस बार कांग्रेस कोई नया प्रयोग करना चाह रही हैl एक महिला चिकित्सक की अचानक बढ़ी सक्रियता ने भी राजनीतिज्ञों को चौंकाया है l राजनैतिक गलियारों में चर्चा है कि भाजपा के कुछ वरिष्ठ नेताओं से उक्त महिला चिकित्सक के पारिवारिक संबंध है हालांकि वह स्वयं फेसबुक पर पोस्ट करके इन बातों को स्वयं ही नकार चुकी है l तीसरी शक्ति के रूप में आम आदमी पार्टी मौजूद है l आम आदमी पार्टी विधानसभा चुनाव में जितनी वोट लेगी कांग्रेस को उतना ही नुकसान उठाना पड़ेगा l नगरीय निकाय चुनाव में भी कुछ ऐसे ही नजारे देखने में आए थेl पिपरिया शहर में बंद कमरों की बैठकों का दौर भी अब शुरू हो गया है दोनों ही राजनैतिक दलों में से कोई एक दमदार दावेदार को निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में भी उतारा जा सकता है जिस पर दोनों ही प्रमुख राजनीतिक दलों के असंतुष्ट वरिष्ठ नेता सहमति बनाने के प्रयास करते दिख रहे हैं फिलहाल कयासों का दौर जारी है और सबकी नजर दोनों ही राजनीतिक दलों पर टिकी है कि आखिर वे अपना प्रत्याशी किसको बनाते हैं इसके बाद ही शहर की राजनीति करवट लेती नजर आएगीl